तेरे बिना जीना वक्त पर एहसान है
तुझ बिन ये जिंदगी दो पल की मेहमान है
तुझे देखने से आँखों मिलता है सुकून
तुझ पे निसार तो हमारी जान है
.................................. Shubhashish(1998)
Tuesday, January 09, 2007
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment